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शीतलहर का कहर: स्वास्थ्य विभाग ने जारी की चेतावनी, बुजुर्ग-बच्चे रहें खास सावधान

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नीमच। प्रदेश में बढ़ती ठंड और शीतलहर के तेज़ प्रकोप को देखते हुए स्वास्थ्य विभाग सतर्क हो गया है। दिसंबर से जनवरी तक तापमान में भारी गिरावट के दौरान बुजुर्गों, बच्चों, गर्भवती महिलाओं और खुले स्थानों पर काम करने वालों में बीमारियों का खतरा बढ़ जाता है। इसी को ध्यान में रखते हुए विभाग ने लोगों को सावधानी बरतने की एडवायज़री जारी की है।

शीतघात से बचने के लिए स्वास्थ्य विभाग की अहम सलाह-
मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. आर.के. खद्योत ने बताया कि शीतलहर के दौरान 60 वर्ष से अधिक आयु के वृद्धजन, 5 वर्ष से कम उम्र के बच्चे, गर्भवती महिलाएं, खेतों में कार्यरत किसान, मज़दूर तथा खुले में रहने वाले घुमंतु लोग सबसे अधिक प्रभावित होते हैं।

ये सावधानियां अपनाएं-

– भारी ठंड में गर्म व उनी कपड़े अवश्य पहनें।
– सिर, छाती, हाथ-पैर पूरी तरह ढककर रखें।
– बुजुर्ग, छोटे बच्चे और गर्भवती महिलाएं बे-वजह बाहर न निकलें।
– संतुलित आहार लें और विटामिन-सी से भरपूर फल-सब्ज़ियों का सेवन बढ़ाएं।
– नियमित रूप से गर्म व तरल पदार्थ लेते रहें।
– खुले में रहने वालों को सरकारी रात्रि विश्रामालयों का उपयोग करने के लिए प्रेरित करें।

इन लक्षणों को न करें नजरअंदाज-
अत्यधिक ठंड के कारण शरीर में हाईपोथर्मिया के लक्षण दिखाई दे सकते हैं, जैसे अनियंत्रित कंपकंपी, बोलने में कठिनाई, तेज़ नींद आने लगना, मांसपेशियों में अकड़न, सांस लेने में परेशानी, अत्यधिक कमजोरी या बेहोशी।

ऐसी स्थिति में जल्द से जल्द नजदीकी स्वास्थ्य केंद्र पहुंचकर उपचार करवाना जरूरी है। जरूरत पड़ने पर 108 एम्बुलेंस की मदद लेने की सलाह दी गई है।

स्वास्थ्य विभाग ने अपील की है कि किसी भी तरह की ठंड से संबंधित बीमारी को हल्के में न लें और तुरंत चिकित्सकीय सलाह प्राप्त करें ताकि शीतलहर के प्रभाव से बचा जा सके।

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