राज्य

LG Saxena | फिनलैंड शिक्षक प्रशिक्षण कार्यक्रम की फाइल लौटाने पर दिल्ली सरकार ने LG को बताया ‘मिनी डिक्टेटर’

[ad_1]

Delhi Car Accident: Inhuman, head hangs in shame Delhi LG VK Saxena on woman’s death after being dragged by car for 4 km

नयी दिल्ली. दिल्ली सरकार ने शनिवार को दावा किया कि उपराज्यपाल (एलजी) वीके सक्सेना ने फिनलैंड शिक्षक प्रशिक्षण कार्यक्रम की फाइल लौटा दी है जो संविधान और उच्चतम न्यायालय के आदेशों का ‘स्पष्ट उल्लंघन’ है। पार्टी ने उन्हें ‘मिनी डिक्टेटर’ (छोटा तानाशाह) बताया है।

अधिकारियों ने शनिवार को बताया कि उपराज्यपाल ने सरकारी स्कूलों के प्राथमिक शिक्षकों को प्रशिक्षण के लिए फिनलैंड भेजने के दिल्ली सरकार के प्रस्ताव को कुछ शर्तों के साथ सैद्धांतिक मंजूरी दे दी है।

सक्सेना ने मंजूरी देते हुए कहा कि यह गलत हो सकता है, लेकिन फिर भी वह कार्यकारी फैसले के हित में प्रस्ताव को मंजूरी दे रहे हैं, वह इस मुद्दे को अराजक व्यावधान में नहीं घसीटना चाहते हैं। सक्सेना ने अपनी मंजूरी में यह भी उल्लेख किया है कि अतीत में संचालित किये गये विदेशी प्रशिक्षण कार्यक्रमों के मूल्यांकन प्रभाव को रिकार्ड में दर्ज कराने से अरविंद केजरीवाल नीत सरकार ने इनकार कर दिया था।

एलजी पर निशाना साधते हुए, दिल्ली सरकार ने एक बयान में आरोप लगाया कि उन्होंने चार महीने तक प्रस्ताव को रोके रखने के बाद इसे वापस कर दिया और यह सुनिश्चित किया कि यह निरर्थक हो जाए क्योंकि प्रशिक्षण दिसंबर 2022 और मार्च 2023 में होना था। दिल्ली सरकार ने प्रस्ताव में संशोधन करने के एलजी की विशेषज्ञता पर सवाल उठाते हुए कहा कि यह एक विशेषज्ञ निकाय एससीईआरटी द्वारा तैयार किया गया था।

बयान में कहा गया है, “यह बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है कि एलजी ‘मिनी डिक्टेटर’ की तरह काम कर रहे हैं। जानबूझकर पूरे कार्यक्रम को खारिज करने के बाद उन्हें इस मामले में उच्च नैतिक आधार अपनाने का कोई अधिकार नहीं है। बयान के मुताबिक, “एलजी दिल्ली के विकास के रास्ते में अवरोधक बन गए हैं। उनका एकमात्र उद्देश्य किसी भी तरह सरकार के सभी अच्छे कामों को रोकना है।”

यह भी पढ़ें

बयान में कहा गया है कि एलजी की ओर से संशोधनों के साथ फाइल लौटाना, “संविधान और उच्चतम न्यायालय के आदेशों का घोर उल्लंघन है।” सरकार ने कहा कि एलजी ने अपने संशोधित प्रस्ताव में आगे के प्रशिक्षण के लिए भेजे जाने वाले शिक्षकों की संख्या में संशोधन करने को कहा है।

सरकार के मुताबिक, एलजी ने यह भी कहा है कि भविष्य में ऐसे अंतरराष्ट्रीय प्रशिक्षण कार्यक्रमों की संख्या कम की जाए और प्रशिक्षण पर भेजे जा रहे शिक्षकों के बैच को शेष अध्यापकों के लिए प्रशिक्षक बनाया जाए। दिन में राजनिवास के अधिकारी ने कहा था कि अतीत में संचालित किये गये विदेशी प्रशिक्षण कार्यक्रमों के प्रभाव मूल्यांकन और विश्लेषण का विवरण प्रदान करने में आम आदमी पार्टी की सरकार की अनिच्छा की वजह से प्रस्ताव पर फैसला लंबित था। (एजेंसी)



[ad_2]

Source link

Advertisement

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button