सोयाबीन फसल पर संकट के बादल!

भारतीय किसान संघ तहसील इकाई बागली ने तहसीलदार को सौंपा ज्ञापन
बागली (हीरालाल गोस्वामी)। क्षेत्र में सोयाबीन फसल पर एक बार फिर संकट के बादल मंडरा रहे हैं। महज 70 दिन की हुई फसल वाइरस की चपेट में आ गई है, जबकि सामान्यतः 90 से 95 दिन में फसल पककर तैयार होती है। किसान चिंतित हैं कि इस बार भी उत्पादन बर्बाद हो सकता है। पिछले वर्ष भी लगभग 80% नुकसान हुआ था, सर्वे दल ने खेतों में पहुंचकर पंचनामा बनाया था, लेकिन आज तक किसानों को मुआवजा नहीं मिल पाया।
इसी समस्या सहित अन्य मुद्दों को लेकर भारतीय किसान संघ तहसील इकाई बागली ने तहसीलदार नीरज प्रजापति को ज्ञापन सौंपा।
प्रमुख मांगें-
– प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना में रिमोट सेंसिंग/सैटेलाइट पद्धति को बंद कर केवल फसल कटाई प्रयोग से आंकलन किया जाए।
– हाटपिपल्या माइक्रो उद्धवन सिंचाई योजना शीघ्र चालू की जाए।
– पिछले वर्ष खराब सोयाबीन का मुआवजा तत्काल दिया जाए।
– देवास जिले में NPK 12-32-16, यूरिया, पोटाश, डीएपी खाद की शीघ्र व्यवस्था की जाए।
– समर्थन मूल्य पर सभी फसलों की खरीदी हो एवं सोयाबीन खरीदी का पंजीयन तुरंत शुरू हो।
– रजिस्ट्री के तुरंत बाद नामांतरण की व्यवस्था सुनिश्चित की जाए।
– भूमि अधिग्रहण की स्थिति में राजस्थान, गुजरात, दिल्ली की तरह चार गुना मुआवजा दिया जाए।
– आयात-निर्यात नीति में सुधार हो, फसलों की आवक के समय आयात बंद हो।
– सभी फसलों को लागत मूल्य के आधार पर लाभकारी मूल्य मिले।
– आलू, प्याज और लहसुन जैसी फसलों के किसानों को लागत भी नहीं निकल रही, इस पर ठोस कदम उठाए जाएं।
– कृषि आदानों पर जीएसटी पूर्णतः समाप्त किया जाए।
इस अवसर पर भारतीय किसान संघ के प्रचार प्रमुख गोवर्धन पाटीदार, जिला अध्यक्ष हुकम पटेल, जिला उपाध्यक्ष नारायण मंडलोई, जिला प्रचार-प्रसार प्रमुख राकेश जाट, चम्पालाल मुकाती, तहसील अध्यक्ष अनिल पाटीदार, तहसील मंत्री सतीष प्रजापत, रवि यादव, देवकरण यादव, रमेश यादव, डालुराम भाटी, कमल नागर, कैलाश पाटीदार, विक्रम सिंह उदावत, बने सिंह, नारायण प्रजापत, कुमेर सिंह, इंदर सिंह, गणेशजी सहित बड़ी संख्या में किसान मौजूद रहे।



