- जंगल में लकड़ी काटने के बहाने ले जाकर की निर्मम हत्या
देवास। अंधविश्वास की जड़ें समाज में कितनी गहरी हैं, इसका खौफनाक उदाहरण कांटाफोड़ थाना क्षेत्र में देखने को मिला, जहां एक युवक ने पड़ोस में रहने वाली मौसी को जादूटोना के संदेह में निर्ममता से मौत के घाट उतार दिया। मृतका का शव जब जंगल में सड़ी-गली अवस्था में मिला, तो पूरे क्षेत्र में सनसनी फैल गई। पुलिस ने त्वरित कार्रवाई करते हुए आरोपी को गिरफ्तार कर लिया है।
9 मार्च को थाना कांटाफोड़ पुलिस को सूचना मिली, कि ग्राम कालापाठा के पास जंगल में एक महिला का शव पड़ा हुआ है। शव बुरी तरह से सड़-गला हुआ था। सूचना मिलते ही थाना प्रभारी कांटाफोड़ सुरेखा निम्बोदा अपनी टीम के साथ मौके पर पहुंचीं और वरिष्ठ अधिकारियों को घटना की जानकारी दी।
पुलिस ने शव की पहचान के लिए सोशल मीडिया का सहारा लिया। मृतका की तस्वीरें प्रसारित की गईं, जिसके बाद उसकी पहचान अमंता पति गोरेलाल तिलवारे (55 वर्ष), निवासी ग्राम पिपल्या नानकर, थाना नेमावर, हालमुकाम पटेल नगर, थाना खजराना, इंदौर के रूप में हुई।
महिला की पहचान होते ही पुलिस ने जांच तेज कर दी और संदिग्धों पर नजर रखनी शुरू कर दी। पुलिस अधीक्षक पुनीत गेहलोद के निर्देश पर अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक हरनारायण बाथम और अनुविभागीय अधिकारी (बागली) सृष्टि भार्गव के मार्गदर्शन में थाना प्रभारी सुरेखा निम्बोदा के नेतृत्व में एक विशेष टीम बनाई गई।
जांच में तकनीकी साक्ष्यों और मुखबिरों की सूचना के आधार पर पुलिस ने मुकेश लोंगरे (24 वर्ष), निवासी साततलाई, हालमुकाम पटेल नगर, खजराना, इंदौर को हिरासत में लिया। जब उससे सख्ती से पूछताछ की गई, तो उसने चौंकाने वाला सच कबूल किया।
जादूटोने के शक में की हत्या-
मुकेश ने बताया कि वह अपनी पत्नी के साथ बीते तीन वर्षों से इंदौर में रहकर मजदूरी कर रहा था। उसकी शादी को चार साल हो चुके थे, लेकिन अब तक उसे संतान नहीं हुई थी। इसी बात को लेकर उसे शक था कि पड़ोस में रहने वाली मौसी अमंता ने उस पर कोई जादू-टोना कर दिया है, जिसके कारण वह संतान सुख से वंचित है।
शक के अंधेरे में डूबे मुकेश ने मौसी को रास्ते से हटाने की ठान ली। 3 मार्च की सुबह 9 बजे रोबोट चौराहा से उसने मौसी को नर्सरी के जंगल में कटाई का काम दिलाने का झांसा देकर अपने साथ चलने को कहा। जैसे ही वे कालापाठा जंगल पहुंचे, वहां पर मुकेश ने दाराती (फसल काटने के औजार) से मौसी के सिर पर वार कर उसकी हत्या कर दी और शव को जंगल में छुपाकर फरार हो गया।
पुलिस की मुस्तैदी से आरोपी गिरफ्तार-
पुलिस ने इस जघन्य हत्या का खुलासा महज कुछ ही घंटों में कर दिया। आरोपी को गिरफ्तार कर न्यायालय में पेश कर आगे की कार्रवाई की जा रही है।
अंधविश्वास बना खौफनाक हत्याकांड की वजह-
यह घटना समाज में फैले अंधविश्वास और कुप्रथाओं की ओर इशारा करती है, जो अब भी लोगों के मन में गहरी पैठ बनाए हुए हैं। पुलिस की तत्परता और सूझबूझ से इस गुत्थी को सुलझा लिया गया, लेकिन यह मामला सोचने पर मजबूर कर देता है।
जांच में इन पुलिसकर्मियों की अहम भूमिका-
इस सराहनीय कार्य में थाना प्रभारी सुरेखा निम्बोदा, उपनिरीक्षक अजय डोड, विनय बघेल, प्रधान आरक्षक अशोक शर्मा, सुरेश, रामबीर, दिलीप, आरक्षक राकेश रावत, प्रकाश और सैनिक अर्जुन की महत्वपूर्ण भूमिका रही।