महायज्ञ का उद्देश्य विश्व कल्याण एवं युवाओं को धर्म के मार्ग पर अग्रसर करना है- वासुदेव परमार
देवास। साकेतवासी श्रीश्री 1008 महामंडलेश्वर गरुड़ दास महाराज के शिष्य श्रीकृष्ण गोपालदास महाराज पंचमुखी धाम आगरोद, दामोदरानंद महाराज, मनमोहनदास महाराज भिंड, भरतदास महाराज बालाजी धाम रुणिजा के सानिध्य में महाआरती कर मालीपुरा स्थित ज्योति बा फुले चौराहे के पास 11 कुंडीय श्रीलक्ष्मी नारायण महायज्ञ में यजमानों द्वारा आहुतियां डाली जा रही है।
काशी के विद्वान आचार्य पं. पुष्कर पांडे एवं सहयोगी आचार्य द्वारा यज्ञ संपादित करवाया जा रहा है। श्री लक्ष्मी नारायण महायज्ञ आयोजन समिति के वासुदेव परमार ने बताया, कि यज्ञ का उद्देश्य देश को हिंदू राष्ट्र बनाना एवं युवाओं को धर्म के मार्ग पर अग्रसर करना है। अधिक से अधिक युवाओं को सनातन धर्म के संस्कारों, रीति- रिवाज से अवगत कराना है। ऐसे धार्मिक आयोजनों से ही हम युवा पीढ़ी को सुसंस्कारित कर विश्व में सनातन धर्म की ध्वज लहराने के लिए जागृत कर सकते हैं। एक सनातन धर्म ही ऐसा धर्म है जिसमें विश्व कल्याण की भावना समाई हुई है। चाहे छोटा से छोटा आयोजन हो उसमें हम विश्व कल्याण की कामना करते हैं। आयोजन समिति के परमार, राहुल हारोड़े सहित पदाधिकारी, कार्यकर्ताओं ने महायज्ञ पंडाल की परिक्रमा कर धर्म लाभ लिया।
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