- योजना में शामिल गांवों में बैठक कर बनाई जा रही है रूपरेखा
देवास। लैंड पुलिंग योजना में शामिल 32 गांवों के किसानों में योजना को लेकर असंतोष व्याप्त है। किसान एक होकर आंदोलन की रूपरेखा तैयार करने में जुटे हैं। इन गांवों से 32 टोलियां तैयार की जा चुकी है। इनमें पांच-पांच सदस्य शामिल है और सभी 32 गांवों के प्रमुख भी बनाए गए हैं। विरोध को गति देने के लिए आंदोलन के प्रमुख सदस्य गांव-गांव जाकर बैठक ले रहे हैं।
रविवार को गदईशा पीपल्या में बैठक आयोजित की गई। इसमें प्रभावित किसानाें के साथ अन्य किसान शामिल हुए। इससे पूर्व ग्राम अचलूखेड़ी, नायता पुवाल्डा में भी बैठक की गई। इस दौरान जानकारी ली गई कि किस गांव से कितनी आपत्तियां योजना को लेकर लग चुकी है। भारतीय किसान संघ के जिला महामंत्री शेखर पटेल ने कहा कि लैंड पुलिंग योजना में विसंगति अधिक है। जमीन का एक इंच भी हम नहीं दे सकते। हमारा आंदोलन तब तक जारी रहेगा, जब तक इस योजना से सभी 32 गांवों को हटा नहीं लिया जाता। बैठक में आगामी दिनों में ट्रैक्टर मार्च निकालने पर भी चर्चा हुई। सभी गांवों के किसानों ने अधिक से अधिक संख्या में ट्रैक्टर लेकर आने की बात कही। ट्रैक्टर मार्च कब निकालना है इसके लिए तारीख तय की जा रही है। जिला महामंत्री पटेल ने बताया कि हमारा आंदोलन शांतिपूर्ण तरीके से चलेगा। हम ट्रैक्टर लेकर पहले कृषि उपज मंडी देवास में एकत्रित होंगे। हां इतना अवश्य है कि ट्रैक्टरों की संख्या बहुत अधिक होगी। कितने ट्रैक्टर शामिल होंगे, इसकी सूची भी बना रहे हैं। ट्रैक्टर मार्च के दौरान राहगीरों को परेशानी नहीं आए, इसका भी ध्यान रखेंगे। सभी ट्रैक्टर एक कतार में चलेंगे। इस अवसर पर हरिओम राठौड़, भारत पटेल सहित बड़ी संख्या में किसान उपस्थित थे।
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