सड़क निर्माण में दो विभागों के बीच उलझा पोल शिफ्टिंग कार्य, शिवसेना ने कलेक्टर से की शिकायत

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– निर्माण के दौरान डंपर से चालू लाइट के तार टूटे, करंट फैलने का डर, मौके पर पहुंचे शिवसेना जिलाध्यक्ष

देवास। सड़क निर्माण में लापरवाही के कारण दो विभागों के बीच विद्युत कंपनी का पोल शिफ्टिंग कार्य उलझा हुआ है। भीमसी से करनाखेड़ी तक डामरीकरण हो रहा है। यह कार्य तेजी से हो रहा है। डामरीकरण से पहले विद्युत कंपनी को पोल शिफ्टिंग करना थी। सड़क का काफी काम पूरा हो चुका है, लेकिन अब तक पाेल शिफ्टिंग नहीं हो सकी। ऐसे में सड़क पर तार बीच में से गुजर रहे हैं और भारी वाहन के गुजरने के दौरान तार टूट भी रहे हैं। इस मामले में शिवसेना ने कलेक्टर ऋषव गुप्ता से शिकायत की है।

शिवसेना जिलाध्यक्ष सुनील वर्मा ने बताया नागूखेड़ी ग्राम पंचायत में आरईएस के अंतर्गत ग्राम भीमसी से करनाखेड़ी सड़क का डामरीकरण चल रहा है। विभाग व ठेकेदार ने विद्युत पोल शिफ्टिंग व तार ऊंचे किए बिना ही कार्य प्रारंभ कर दिया। निर्माण के दौरान कई घरों की चालू लाइट के तार टूट गए। विद्युत पोल/तार शिफ्टिंग की उचित व्यवस्था किए जाने की मांग के साथ लापरवाही की शिकायत शिवसेना ने कलेक्टर श्री गुप्ता से की।

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उन्हें बताया है, कि दो विभागों पीडब्ल्यूडी/आरईएस के बीच विद्युत कंपनी की लाइट शिफ्टिंग का कार्य उलझ गया है। सर्वे पीडब्ल्यूडी विभाग ने कराया और निर्माण आरईएस विभाग कर रहा है। सड़क पर डामरीकरण चल रहा है, लेकिन बिना पोल और तार शिफ्टिंग के। स्थानीय निवासी रोज के तार टूटने से परेशान हैं।

इस मामले में शिवसेना जिला अध्यक्ष श्री वर्मा विद्युत विभाग भी पहुंचे। विद्युत कंपनी के सुपरवाइजर हरिओम शाह ने उन्हें बताया कि इसकी जिम्मेदारी निर्माण कर रहे संबंधित कंपनी के ठेकेदार की है। उनके द्वारा पहले विद्युत कंपनी से अनुमति लेना थी, जिसके बाद ही कार्य करना था। सड़क ऊंची हो जाने के कारण पूर्व की लाइन नीची हो गई। वाहनों में करंट फैलने से लेकर घरों के सर्विस वायर टूट रहे हैं। इसकी लगातार शिकायत भी मिली है। जब में मौके पर पहुंचा तो पता चला, कि सर्वे मैंने पीडब्ल्यूडी के साथ किया था, लेकिन यहां तो निर्माण एजेंसी दूसरी ही है। सुपरवाइजर श्री शाह ने कहा कि इस संबंध में संबंधित निर्माण एजेंसी को भी बिना अनुमति निर्माण कार्य करने के लिए पत्र लिखकर कहा कि कोई घटना घटी तो इसकी जिम्मेदारी संबंधित विभाग और कंपनी की रहेगी।

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पीडब्ल्यूडी व विद्युत कंपनी ने संयुक्त रूप से दिसंबर में सर्वे किया था। इसमें 22 पोल-तार शिफ्ट किए जाने का एस्टीमेट विभाग को दिया था। यह कार्य लगभग 20 लाख रुपए से अधिक में होना है। शिवसेना ने मांग की है कि विभागीय लापरवाही के चलते पोल शिफ्टिंग नहीं हो सकी है। सड़क निर्माण के साथ ग्रामीणों को विद्युत सप्लाय भी उचित रूप से मिलना चाहिए। समय रहते व्यवस्था सुनिश्चित हो जाएगी तो कोई हादसे की आशंका नहीं रहेगी। शिवसेना ने इस प्रकार की लापरवाही बरतने वालों पर कार्रवाई किए जाने मांग की है।

इस संबंध में आरईएस विभाग के अधिकारी व संबंधित इंजीनियर से फोन पर संपर्क का प्रयास किया गया, लेकिन उन्होंने फोन रिसीव नहीं किया।

लोक निर्माण विभाग के अधिकारी हरेंद्र रघुवंशी का कहना है पोल शिफ्टिंग संबंधी सर्वे जरूर लोक निर्माण विभाग व विद्युत कंपनी ने किया था। बाद में आरईएस को सड़क की स्वीकृति मिल गई। ऐसे में हम निर्माण कार्य नहीं करवा रहे हैं, इसलिए इन कार्यों की जवाबदारी हमारी नहीं है।

आवेदन देते समय शहर अध्यक्ष श्रवणसिंह बैस, जिला संयोजक कृष्णा पारखे, जिला उपाध्यक्ष लखन टिपानिया, जिला महासचिव विनोद पटेल, रत्नेश गुप्ता, राकेश लाल, विजय जायसवाल, अंकित कौशल अन्य शिवसैनिक उपस्थित थे। उक्त जानकारी शिवसेना जिला प्रवक्ता संजू भाटी ने दी।

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