अतवास। घोष के साथ कदमताल मिलाते हुए अतवास में पथ संचलन निकला। जगह-जगह लोगों ने पुष्पवर्षा कर पथ संचलन का स्वागत किया।संचलन के पूर्व अतिथियों द्वारा भारत माता का पूजन एवं शस्त्र पूजन किया गया।
साथ ही स्वयंसेवकों को वक्ताओं ने सम्बोधित करते हुए कहा कि आने वाले वर्ष में हमारे संघ के 100 वर्ष पूर्ण होने वाले हैं। अब हम समस्या बताने वाले नहीं, अपितु समस्या हल करने वाले बनने चाहिए। अब संघ समाज परिवर्तन के चरण में है। समाज संघ एवं स्वंयसेवकों का अनुसरण करता है। इस हेतु केंद्रीय नेतृत्व ने स्वयंसेवकों से पंच परिवर्तन के पांच संकल्प लेने के साथ उन्हें दैनिक जीवन में उतारकर समाज परिवर्तन करने का आव्हान किया। जो ‘कुटुंब प्रबोधन’, ‘सामाजिक समरसता’, ‘पर्यावरण’, ‘स्वावलंबन’ एवं नागरिक आचरण है। वक्ताओं ने इन पांचों संकल्प के करणीय कार्य को समझाते हुए इनका राष्ट्र निर्माण में महत्व बताया। इस हेतु सबकी अपनी-अपनी भूमिकाएं होती है। सब अपनी-अपनी भूमिकाओं का निर्वहन करे, साथ ही संपूर्ण समाज की सहभागिता तय हो।
इसके उपरांत स्वयंसेवक विभिन्न वाहिनियों में पथ संचलन कर बस्ती की गलियों-मोहल्लों से होते हुए तय स्थान पर पहुंचे। पथ संचलन में स्वंयसेवकों ने अतवास के 3 किलोमीटर से अधिक मार्ग को तय किया। संचलन को लेकर अतवास की गलियों एवं मोहल्ले में उत्साह का वातावरण रहा। अनेकों स्थानों पर मातृशक्ति ने रंगोली एवं मांडने बनाकर संचलन का स्वागत किया। इसी के साथ ग्रामीणों ने पथसंचलन का पुष्पवर्षा कर स्वागत किया।
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