देवास। भक्ति मार्ग ईश्वर प्राप्ति का सबसे सरल मार्ग है। जो भी व्यक्ति सच्चे दिल से ईश्वर की भक्ति करता है, भजन करता है ईश्वर हमेशा उसके साथ रहते हैं।
यह विचार श्रीराम द्वारा में भागवत कथा के अंतर्गत महंत स्वामी राम नारायणजी ने प्रकट किए। उन्होंने कहा कि मानव जीवन में अनेक कठिनाई आती है, लेकिन उनसे कभी भागना नहीं चाहिए। ईश्वर पर श्रद्धा रखते हुए उनका सामना करना चाहिए।
शुकदेव मुनि और राजा परीक्षित के अनेक प्रसंगों की महन्तजी ने विस्तृत व्याख्या की और कहा कि भागवत कथा हम सभी के लिए प्रेरणा स्रोत है। संतराम सुमिरनजी एवं बाल संत पुनीत रामजी ने निर्गुणी भजन प्रस्तुत किए।
भागवत कथा के अंतर्गत कपिल जयंती, वामन जयंती, कृष्ण जन्म डोल ग्यारस, नरसिंह अवतार आदि आयोजन होंगे। कथा के लिए सभा मंडप को आकर्षक ढंग से सजाया गया है। राम स्नेही सत्संग मंडल ने सभी श्रद्धालुओं से भागवत कथा का लाभ लेने का आग्रह किया है।
कथा के अंतर्गत प्रतिदिन रामधुन, भजन एवं राम नाम पुस्तिका का लेखन एवं सांस्कृतिक कार्यक्रम का आयोजन होगा। कथा का समय प्रतिदिन दोपहर 1 से शाम 5 बजे तक रखा गया है। कथा का समापन 19 सितंबर गुरुवार को होगा। यह जानकारी महेश सोनी ने दी।
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